Spacex और ट्विटर जैसे बड़ी कंपनी के मालिक Elon Musk अब लोगों के दिमाग में चिप लगाने वाले हैं। जी हां बिल्कुल सही सुना है आप ने। दरअसल एलन मस्क की एक और कंपनी है Neura Link जो कई दिनों से चर्चा में है। इसकी वजह कंपनी का बनाया एक चिप जो लोगों के दिमाग में लगाया जा सकेगा। इस चिप से इंसान की डिसएबिलिटी को दूर करने में मदद मिलेगी। एलन मस्क की कंपनी इस चिप पर बहुत लंबे समय से कम कर रहे हैं।
आखिर यह टेक्नोलॉजी काम कैसे करती हैं?
यह आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पावर्ड माइक्रोचिप है। दिमाग की एक्टिविटी को रिकॉर्ड और रीड कर सकती है। चिप से लोगों की डिसएबिलिटी दूर करने में मदद मिलेगी। पैरालिसिस सख्श दिमाग का इस्तेमाल कर स्मार्टफोन यूज़ कर सकेंगे। यूजर पहले से ज्यादा तेज फोन यूज़ कर सकेंगे। इतना ही नहीं कंपनी की माने की यह चिप आपके दिमाग में आने वाले विचारों को भी पढ़ सकती है। यहां तक की जिसके दिमाग में यह चिप लगी होगी। वह सख्श बिना कुछ बोले मशीनों से बातचीत कर सकेगा। इसके बारे में बताते हुए एलन मस्क ने “कहा कि हम इसे लेकर बेहद सावधान रहना चाहते हैं। और यह भी कि किसी इंसान के दिमाग में लगाए जाने से पहले यह ठीक तरह से कम करें। अगले 6 महीने में हम किसी इंसान के दिमाग में न्यूरल लिंक इंस्टॉल कर सकेंगे”।
अब सवाल यह है की सबसे पहले यह चिप किसके दिमाग में लगेगी। आपको बता दे की एलन मस्क ने खुद इसे अपने दिमाग में लगाने की दिलचस्पी दिखाई है दरअसल ब्लूबेर की एक लेखक ने ट्वीट किया था। क्या एलन मस्क अपने दिमाग में यह चिपक लगवाएंगे? जिसके सवाल में एलन मस्क ने लिखा “हां” . और अब एलन मस्क की यह टेक्नोलॉजी कामयाब होती है। तो यह डिसएबल लोगों के लिए किसी वरदान से काम नहीं होगा। और जो डाटा चिप में इकट्ठा होगा। उसको कंप्यूटर में डाला जाएगा। जिसका इस्तेमाल आने वाले भविष्य में होने वाले रिसर्च में किया जाएगा।
एक सूअर और एक बंदर के दिमाग में डाली गई चिप
न्यूरालिंक ने कहा था कि”पेजर” ने बहुत ही खुबसूरती से ब्रेन-कंप्यूटर इंटरफेस को मैनेज किया है. वीडियो गेम ही नहीं, सामान्य गतिविधियों में भी उसे इस चिप की वजह से कोई दिक्कत नहीं हो रही है. न्यूरालिंक ने इस वीडियो में बताया था कि एक सुअर के ब्रेन में भी ऐसी ही चिप डाली गई है. ब्रेन चिप के साथ बंदर को वीडियो गेम खेलते हुए देखने का अनुभव काफी अच्छा था. ये बंदर दिए गए टास्क को लाइव पूरा कर रहा था।
ब्रेन-चिप के जरिये क्या कर सकेगा इंसान?
मस्क ने कहा कि इंसानी दिमाग और आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस को जोड़ने की कोशिश जारी है. इसकी मदद से इंसान के दिमाग में चिप लगाई जाएगी. इसके बाद दिमाग की हलचल को रिकॉर्ड किया जाएगा. ये चिप इंसान की दिमागी गतिविधियों पर असर भी डाल सकेगी. पारकिंसन्स जैसी बीमारी के इलाज में इसका इस्तेमाल महत्वपूर्ण साबित होगा. उन्होंने कहा था कि टीवी सीरीज ब्लैक मिरर की तरह चिंप यादें सेव करके दोबारा प्ले कर सकेगी. यही नहीं, इंसान टेलिपैथी के जरिये कार भी बुला सकेंगे. हालांकि, इन दावों को सच मानना विशेषज्ञों के लिए फिलहाल मुश्किल है।