पूरे देश में पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों ने आम जनता की कमर तोड़कर रख दी है। चाहे वो कोई सा भी राज्य हो जनता काफी त्रस्त हैं।क्योंकि पेट्रोल-डीजल की कीमत बढ़ने से इसका सीधा असर जनता की जेब पर पड़ता है। हर चीज महंगी होने लगती है। चाहे वो खाने-पीने की चीजें हो या फिर रोजमर्रा का सामान। सामानों को लाने और ले जाने के लिए ट्रांसपोर्टेशन की जरुरत होती है।
और तेल की कीमतों के बढ़ने से इसका रेट भी बढ़ने लगता है। लिहाजा कंपनियां इसकी वसूली जनता से ही करती है। इससे केंद्र की मोदी सरकार भी वाकिफ है। इसलिए अब सरकार ने इसका विकल्प तलाशा है। जिसके बाद अब आपकी गाड़ी 50 से 60 रुपए प्रति लीटर के तेल में चलने लगेगी। आखिर क्या है इस खबर की हकीकत हम आपको बताएंगे इस पोस्ट के जरिए।
केंद्र सरकार ने पेट्रोल-डीजल के विकल्प तलाशने के लिए फ्लेक्स फ्यूल का बाजार बढ़ाने का फैसला किया है। फ्लेक्स फ्यूल के जरिए पेट्रोल पर निर्भरता लोगों की कम हो जाएगी। इसके लिए एथेनॉल की जरुरत पड़ेगी। जानकारी के मुताबिक एथनॉल ब्लेडिंग का काम तो पहले से चल रहा है। लेकिन अब सरकार की कोशिश है कि देश में जल्द से जल्द फ्लेक्स-ईंधन को लॉन्च किया जाये, जिससे आम लोगों को महंगे पेट्रोल – डीजल से निजात दिलाई जा सके। पर ये सवाल जरुर आपको मन में कौंध रहा होगा कि आखिरकार फ्लेक्स-ईंधन क्या है. दरअसल इन दिनों लगातार फ्लेक्स-फ्यूल कारों और फ्लेक्स फ्यूल की चर्चा हो रही है।
आखिर क्या है फ्लेक्स फ्यूल ?
फ्लेक्स-फ्यूल के जरिए आप अपनी कार को एथनॉल के साथ मिश्रित ईंधन पर आसानी से चला सकते हैं। फ्लेक्स-फ्यूल गैसोलीन और मेथनॉल या फिर एथनॉल के संयोजन से बना एक वैकल्पिक ईंधन है। पेट्रोल इंजन में कुछ ऐसे घटक होते हैं जो पेट्रोल के अलावा दूसरे ईंधन पर भी चलते हैं। इस ईंधन को बनाने में खर्च काफी कम आता है। वहीं दूसरी तरफ इलेक्ट्रिक व्हीकल को बनाने में काफी खर्च लगता है। इसलिए सरकार ने अब फ्लेक्स इंजन के साथ उसके ईंधन को बनाने के लिए काम शुरु कर दिया है।
सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी के मुताबिक कि सरकार फ्लेक्स फ्यूल इंजन को अगले 6 महीने में अनिवार्य करने जा रही है। उन्होंने कहा कि ये नियम हर तरह के वाहनों के लिए बनाया जाएगा । इसके अलावा सभी ऑटो कंपनियों को आदेश दिए जाएंगे कि वो अपने वाहनों में फ्लेक्स फ्यूल इंजन को फिट करें। ताकि लोगों को पेट्रोल-डीजल की बढ़ती कीमतों से निजात दिलाई जा सके।